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कोलारस के लिये सीएम शिवराज ने की कई घोषणा

बदरवास। कोलारस उपचुनाव से पहले बदरवास पहुंचे सीएम शिवराजसिंह ने आवेदनों का अंबार देख बुधवार-गुरुवार की रात बदरवास में ही रुकने का फैसला किया। उन्होंने बदरवास में महाविद्यालय खोलने के आदेश को दिखाया और कलेक्टर को तत्काल अस्थायी कॉलेज शुरू करने के निर्देश दिए।

उन्होंने कहा कि प्रदेश के किसानों पर भारी कर्ज के चलते उन्हें बैंकों ने ऋण देना बंद कर दिया है। कभी सूखा तो कभी अतिवृष्टि से बर्बाद किसानों ने समय पर ऋण नहीं चुकाया।

सरकार ने फैसला किया है कि जल्द ही समाधान योजना प्रदेशभर में लागू की जाएगी। किसानों के ब्याज की राशि सरकार किसानों के खाते में जमा करेगी और मूलधन के आधार पर किसान फिर से कर्ज लेने के लायक हो जाएंगे। किसानों की नाराजगी से चिंतित सीएम शिवराज ने बताया कि जो किसान अच्छे दाम मिलने की चाहत में फसल सुरक्षित रखना चाहते हैं, उनकी फसल वेयर हाउस में रखी जाएगी। वेयर हाउस का किराया सरकार की ओर से वहन किया जाएगा।

4 साल पहले मुख्य चुनाव में की थी कॉलेज की घोषणा

साल 2013 में विधानसभा चुनाव से पहले 7 सितंबर को कोलारस में जनदर्शन कार्यक्रम में सीएम ने बदरवास में महाविद्यालय खोलने की घोषणा की थी, जो साढ़े 4 साल बाद भी पूरी नहीं हुई, लेकिन कोलारस उपचुनाव से ठीक पहले बदरवास में मुख्यमंत्री पहुंचे तो अपने साथ भोपाल से ही बदरवास महाविद्यालय की स्वीकृति का आदेश लेकर आए।

किसानों और पुलिस के बीच धक्कामुक्की, एसपी ने किया इंकार

बदरवास में आयोजित किसान सम्मेलन में जिस समय सीएम मंच से किसानों के लिए सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं का बखान कर रहे थे, उसी समय भीड़ में मौजूद कुछ किसान सीएम को सुनने व नजदीक से देखने के लिए आगे की ओर आने का प्रयास कर रहे थे, तभी ड्यूटी पर मौजूद पोहरी एसडीओपी अशोक घनघोरिया व अन्य पुलिसकर्मियों ने उन किसानों को रोका, जिससे वहां अफरा-तफरी की स्थिति मच गई।

एक किसान के सिर में मामूली चोट लगने की बात सामने आई तो लोग नारेबाजी करने लगे। कुछ नाराज किसानों ने पुलिसकर्मियों पर धूल मिट्टी व खाली कुर्सियां भी फेंकना शुरू कर दिया। सीएम मंच से भाषण दे रहे थे। उन्होंने कहा कि किसी को रोको नहीं, मैं खुद उनके बीच जाऊंगा और सबकी बात सुनूंगा। इधर एसपी सुनील पांडे सहित एएसपी कमल मौर्य ने मारपीट की घटना से इनकार किया हैं।

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